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भरतपुर. 12 साल से 25 प्रतिशत विकसित भूखंड व पट्टा मिलने का सपना देख रहे खातेदारों के सब्र का बांध गुरुवार को टूट गया। खातेदारों ने कलक्ट्रेट कार्यालय आकर प्रदर्शन किया। इसके बाद जिला कलक्टर को ज्ञापन देकर समस्या का समाधान नहीं होने पर सोमवार को नगर सुधार न्यास के कार्यालय पर तालाबंदी की चेतावनी दी। उल्लेखनीय है कि राजस्थान पत्रिका ने 13 जुलाई के अंक में सेक्टर नंबर 13: खातेदारों से 12 साल पहले खेती का हक छीना, मुआवजे का अब तक इंतजार शीर्षक से समाचार प्रकाशित कर मामले का खुलासा किया था। उसके बाद से ही लगातार खातेदारों का दर्द बयां किया जा रहा है।
खातेदारों ने ज्ञापन में उल्लेख किया है कि पीडि़त किसानों की ओर से नौ जुलाई को एक ज्ञापन एसडीएम व कार्यकारी सचिव यूआईटी को दिया था। इसमें नगर सुधार न्यास की स्कीम नंबर 13 में पूर्व के 12 साल से किसानों को आर्थिक व मानसिक प्रताडि़त करने की शिकायत करते हुए समाधान की मांग की गई थी। उसको लेकर सात दिन का समय नगर सुधार न्यास को 25 प्रतिशत विकसित भूखंड व पट्टे देने के लिए दिया गया था, लेकिन उसके बाद भी कोई कार्रवाई अभी तक नहीं की गई है। ऐसे में मजबूरी में किसानों को आंदोलन का रुख करना पड़ रहा है। इसके प्रथम चरण में 26 जुलाई को सभी किसान यूआईटी कार्यालय की तालाबंदी व घेराव कर एक दिन का सांकेतिक धरना देंगे। इसके बाद भी अगर किसानों को पट्टे नहीं दिए जाते हैं तो आंदोलन को और अधिक तेज किया जाएगा। प्रतिनिधिमंडल में अशोक चाहर, उम्मेद सिंह, पंकज, घनश्याम, सतीश कुमार, बनैसिंह, देवकीनंदन, मनीष कुमार, जीतेंद्र, लालाराम आदि शामिल थे।


बोले: भूमाफियाओं को शह दे रहा प्रशासन

एक गुट का यह भी दावा है कि सेक्टर नंबर 13 की योजना को लेकर देरी करने के पीछे नगर सुधार न्यास, प्रशासन व राजनेताओं के साथ सांठगांठ रखने वाले एक भूमाफिया गिरोह का हाथ है, जो कि लंबे समय से किसी न किसी तरह से आंतरिक समझौते के तहत इसमें देरी करा रहा है। इसका खामियाजा शहर की जनता व खातेदारों को भुगतना पड़ रहा है। इसमें बरसो का नगला, सोनपुरा, विजय नगर, तेरही नगला, जाट मड़ौली, श्रीनगर, मलाह, अनाह आदि के किसान शामिल हैं। किसानों का कहना है कि हमारी जमीन होते हुए भी हम दर-दर की ठोकरें खा रहे हैं। कागजों में ही नगर विकास न्यास की ओर से जयपुर-आगरा राजमार्ग पर बहुप्रतिक्षित आवासीय योजना सेक्टर-13 को भरतपुर का उप नगर माना जाता है। इसमें दो लाख की आबादी को बसाने का प्लान किया गया है। यहां मिनी सचिवालय, कॉलेज, अस्पताल, स्पोटर्स काम्पलेक्स, मार्केट, सामुदायिक भवन, दो स्कूल, आठ पार्क सहित तमाम सुविधाओं का प्रावधान किया गया है।


12 साल में ऐसे रही योजना की चाल

नगर सुधार न्यास ने 2002 नेशनल हाईवे स्थित सेक्टर नंबर 13 स्कीम का अधिगृहण किया गया। इसके बाद राज्यपाल की अनुमति के लिए उन्होंने भेज दिया फिर सेटलमेंट की रिपोर्ट एक्वायर कर नगर विकास न्यास के नाम खातेदारी चला दी। भूखंडों की रिजर्व प्राइज नौ हजार रुपए वर्गमीटर रखी गई थी। इसकी प्लानिंग 21 सितंबर, 2005 को हुई थी। जबकि एक सितंबर, 2011 को सरकार से स्वीकृति मिली। इसके बाद 3 सितंबर 2014 को 2200 बीघा भूमि पर कब्जा लिया गया। इसे लेकर तमाम तरह के भू स्वामियों से विवाद चलते रहे। इस कारण 19 नवंबर 2017 को वन एवं पर्यावरण विभाग की ओर से मंजूरी मिल सकी। योजना में 4 करोड़ रुपए की लागत से अप्रोच रोड बनाई जा चुकी हैं। इसमें मलाह मोड से सेवर रोड तक का दाएं क्षेत्र, सेवर रोड से हीरादास और काली की बगीची तिराहे तक का अंदरूनी हिस्सा शामिल है। 2006 में यूआईटी ने रजिस्ट्री पर रोक लगवा दी। इसके बाद 2010 में किसानों के खेती करने पर रोक लगा दी। कुछ किसानों ने फसल की थी तो प्रशासन ने ट्रेक्टर चलवा कर फसल को नष्ट कर दिया। इसके बाद किसान यूआईटी के चक्कर लगाते रहे।

इनका कहना है

-नगर सुधार न्यास के अधिकारियों को निर्देशित किया जा चुका है। 25 प्रतिशत विकसित भूखंड देने के नियम को लेकर कुछ खातेदारों के प्रस्ताव पर परेशानी थी। उनका निस्तारण कराने के साथ ही योजना पर काम चल रहा है। खुद इस स्कीम के कार्य पर नजर रखी जा रही है। बहुत जल्द खातेदारों की समस्या का निराकरण किया जाएगा।

हिमांशु गुप्ता
जिला कलक्टर


-किसानों के साथ बैठक की जाएगी। उनकी योजना है कि अगर प्रशासन हमारी बातों को नहीं सुनता है तो आंदोलन किया जाए। हम हर परिस्थिति में किसान व शहर के साथ है। संबंधित वार्डों के पार्षद भी खातेदारों से मिल चुके हैं। आंदोलन की रणनीति तय कर निर्णय लिया जाएगा।

गिरधारी तिवारी
सामाजिक कार्यकर्ता

भरतपुर. नगर निगम में नेता प्रतिपक्ष का चयन होने के बाद से ही भाजपा के पार्षदों के बीच खींचतान चल रही है। इसका एक और नजारा गुरुवार को उस समय देखने को मिला। जब सफाई कर्मियों के साथ कपिल फौजदार नेता प्रतिपक्ष नगर निगम की ओर से सफाई कर्मियों की लंबे समय से चली आ रही स्थायीकरण की मांग को लेकर प्रदर्शन करने पहुंचे। कहने को नगर निगम में भाजपा के 22 पार्षद हैं, लेकिन प्रदर्शन के दौरान नेता प्रतिपक्ष को छोड़कर एक भी पार्षद नजर नहीं आया। प्रदर्शन में निगम के स्थायीकरण नहीं किए जाने पर नगर निगम कार्यालय गेट की तालाबंदी एवं प्रदर्शन किया गया। करीब 30 मिनट तक उसके उपरांत मथुरा गेट थाना अधिकारी ने मौके पर पहुंचकर गेट को खुलवाया।
कपिल फौजदार ने बताया कि नगर निगम में वर्ष 2018 में सफाई कर्मियों की भर्ती की गई। करीब 350 सफाई कर्मियों की सफाई कर्मियों को तीन वर्ष हो चुके हैं लेकिन इनका स्थायीकरण नहीं किया गया है। इनका परिवीक्षाकाल पूरा चुका है। स्थायीकरण की मांग को लेकर महापौर एवं आयुक्त से कई बार लिखित एवं मौखिक ज्ञापन एवं निवेदन किया जा चुका है लेकिन अभी तक स्थायीकरण नहीं किया गया है। सफाईकर्मी जो कि आमजन का मल मूत्र गंदगी की सफाई करते हैं एवं शहर को साफ एवं स्वच्छ रखते हैं और वैश्विक महामारी कोरोना कालखंड अपनी जान की परवाह न करते हुए लगातार अस्पतालों, कोरोना सेंटर सफाई कार्य एवं श्मशान घाटों में अंतिम संस्कार किए हैं। स्थायीकरण न किए जाने से इनके परिवार का पालन पोषण सही प्रकार से नहीं हो पा रहा है। मानसिक तनाव से परिवार गुजर रहा है। जब प्रोविजन पीरियड पूर्ण हो चुका है तो सरकार की ओर से दिए जाने वाले लाभ मिलने चाहिए वह भी नहीं मिल रहे हैं। इस अवसर पर सफाईकर्मचारियों के नेता सुभाष घई ने भी विचार रखे।

...मतलब नेता प्रतिपक्ष के मनोनयन का हो रहा विरोध

चयन होने के बाद से ही नेता प्रतिपक्ष कपिल फौजदार की ओर से विभिन्न मुद्दों को लेकर जितने भी धरना-प्रदर्शन किए गए हैं, उनमें अभी तक एक भी प्रदर्शन में उनके अलावा भाजपा का कोई भी पार्षद नजर नहीं आया है। इसके पीछे तर्क बताते हैं कि उनके मनोनयन को लेकर पार्षदों के बीच विरोध हो रहा है। यह मामला प्रदेश तक पहुंच चुका है। क्योंकि वरिष्ठ पार्षदों को नियुक्ति में तवज्जो नहीं दी गई है।

भरतपुर. सेवर थाना अंतर्गत सेवर फोर्ट के पास शुक्रवार सुबह ट्रेक्टर-ट्रॉली में पीछे से आ रही एक पिकअप साइड से जा टकराई। जिससे ट्रॉली अनियंत्रित होकर पलट गई। हादसा देखकर आसपास के लोग मौके पर पहुंचे और पुलिस को सूचना दी। लोगों की मदद से ट्रॉली में दबे घायलों को मशक्कत कर बाहर निकाला। और जिला आरबीएम अस्पताल भिजवाया। हादसे में दो बालक समेत तीन जने की मौत हो गई। जबकि दो दर्जन घायल हो गए। जिन्हें जिला अस्पताल में उपचार के लिए भर्ती कराया है। ट्रेक्टर-ट्रॉली सवार लोग मथुरा जिले के गांव नौगाया में भण्डारा कार्यक्रम शामिल होने जा रहे थे। अचानक हुई घटना की सूचना मिलने पर बड़ी संख्या में ग्रामीणों की भीड़ जमा हो गई।
जानकारी के अनुसार लखनपुर थाने के गांव अलीपुर से एक ही परिवार के करीब 25 से अधिक लोग ट्रेक्टर-ट्रॉली से मथुरा जिले के नौगाया में परिवार में आयोजित धार्मिक कार्यक्रम के भण्डारे में शामिल होने जा रहे थे। बताया जा रहा है कि सेवर थाना इलाके में सेवर फोर्ट के पास ट्रेक्टर-ट्रॉली में पीछे से एक पिकअप ने पुच्ची मार दी जिससे ट्रेक्टर-ट्रॉली अनियंत्रित होकर पलट गई। हादसा होने पर चीख-पुकार मच गई। घटना देख राहगीर और आसपास के लोग मौके पर पहुंचे और ट्रॉली में फंसे लोगों को निकालने का प्रयास किया। लोगों की मदद से नीचे दबे लोगों को बाहर निकाल कर अस्पताल भिजवाया। जहां पर चिकित्सकों ने धूजीराम जाटव (55) पुत्र खिचीराम निवासी अलीपुर, प्रशांत (12) पुत्र नरेन्द्र व पृथ्वीराज (13) पुत्र सुरेन्द्र जाटव निवासी अलीपुर की मौत हो गई। जबकि हादसे में करीब 22 जने घायल हो गए, जिन्हें जिला आरबीएम अस्पताल में भर्ती कराया है।


ऑनलाइन ठगी मामले में आरोपी गिरफ्तार

भरतपुर. कामां थाना पुलिस ने ऑनलाइन ठगी मामले में एक आरोपी को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने बताया कि तत्कालीन थानाधिकारी प्रशिक्षु आईपीएस सुमित महेरडा ने कस्बा कामां में स्थित ई-मित्र संचालक गांव टायरा थाना कामां निवासी लियाकत पुत्र अस्सर मेव बगैराह 6 जनों के विरूद्ध ऑनलाइन ठगी के पैसों को ई-मित्र द्वारा कमीशन पर निकालकर ठगी करने वालों को देने का मामला दर्ज कराया था। प्रकरण की जांच करते हुए पुलिस ने मालमे में नामजद आरोपी सहिल पुत्र कासम मेव निवासी कुलवाना थाना कामां को गिरफ्तार किया है।

भरतपुर. थाना उद्योगनगर के गांव सांतरूक में शुक्रवार सुबह घर में दंपती के फंदे से झूलते शव मिलने से सनसनी फैल गई। पत्नी का शव घर के अंदर और पति का बाहर बरामदे में शव लटका मिला। सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और मृतकों के शवों को कब्जे में लेकर जिला अस्पताल भिजवाया। प्रारम्भिक जांच में दंपती के खुदकुशी करने की बात सामने आई है। पुलिस का कहना है कि गृह क्लेश के चलते हुए विवाद के बाद पहले पत्नी ने खुदकुशी कर ली। पति को मालूम हुआ तो उसने भी जीवनलीला समाप्त कर ली। घटना के समय परिजन खेत पर थे जिससे जानकारी सुबह के समय हुई। दंपती की शादी करीब दो साल पहले हुई थी और कोई संतान नहीं थी। उधर, मृतका के पिता ने दहेज हत्या का मामला दर्ज कराया है। अचानक हुई घटना से परिजन सदमे में हैं।

थाना प्रभारी महेंद्र सिंह राठी ने बताया कि सुबह दंपती के खुदकुशी करने की सूचना मिली। जिस पर गांव सांतरुक पहुंचे तो यहां जितेन्द्र (27) पुत्र वीरेन्द्र जाट और उसकी पत्नी गायत्री (25) पुत्री जगराम निवासी मवई थाना डीग के शव फंदे से झूलते मिले। पुलिस ने मौके पर एफएसएल टीम बुलाकर जांच कराई और शवों को उतरवा जिला अस्पताल की मोर्चरी में भिजवाया। पुलिस ने मृतकों के पोस्टमार्टम करा शव परिजनों को सौंप दिए। उधर, घटना की सूचना पर पीहर पक्ष के लोग गांव पहुंचे और जानकारी ली। मृतका गायत्री के पिता ने पुलिस में सास-ससुर समेत अन्य पर दहेज के लिए पुत्री को परेशान करने और हत्या करने का आरोप लगाते मुकदमा दर्ज कराया है।


गड्ढे में पड़े मिले देशी शराब 515 पव्वे

उच्चैन. पुलिस ने गुरुवार शाम को गांव हीरापुर स्थित सिकरौदा बंध के पास एक गड्ढे में पड़े 515 अवैध देशी शराब के पव्वा बरामद किए हैं। बताय जा रहा है कि अज्ञात गाड़ी इस इलाके में आई थी जिस पर शराब लाने का शक है।
थाना प्रभारी श्रवण पाठक ने बताया कि शाम को मुखविर की सूचना पर सिकरौदा बंध पार एक गड्ढे में 515 अवैध देशी शराब के पव्वे एवं कागज के कर्टन पड़े मिले। शराब के बारे में आसपास पूछा गया लेकिन कोई जानकारी नहीं मिली। लोग आपस में बात करते हुए बताया कि सुबह के समय एक गाड़ी उक्त स्थान पर खडी़ थी लेकिन किसी भी व्यक्ति ने मौके पर गाड़ी का नम्बर नहीं बताया। पुलिस ने मौके से 515 अवैध देशी शराब जब्त कर मामला दर्ज किया है।

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